अंधेरी रात में निर्वस्त्र महिलाओं संग पूरा होता था यह 'कर्मकांड'!
पटियाला के महाराजा भूपेंदर सिंह के बारे में जिसे सुन आप हैरान रह जाएंगे.
पटियाला के महाराजा भूपेंदर सिंह अपनी अजब-गजब आदतों के लिए खासे मशहूर रहे हैं। उनके दीवान जरमनी दास ने भारतीय राजे-महाराजाओं के बारे में लिखते हुए उनकी एक विचित्र सनक का जिक्र किया है। इसमें वे अपने एक खास महल में तंत्र-मंत्र की गतिविधियां करते थे। उस अवसर पर आने वाले हर अतिथि को निर्वस्त्र ही रहना होता था।
पूरा कर्मकांड उनके महल के स्वीमिंग पूल के आसपास होता था। इसमें उनके राज्य के अंग्रेज अधिकारी और उनकी पत्नियां और अन्य अंग्रेज औऱ देसी महिलाएं भी भाग लेती थीं। पूरी रात वे सुरापान और कर्मकांड चलता था। जरमनी दास का कहना है कि इस अवसर पर क्या-क्या होता था लिखा भी नहीं जा सकता है। दीवान जरमनी दास ने महाराजा, महारानी नामक बेस्ट सेलर बुक्स लिखी हैं। उन्होंने इस किताब में खुल कर लिखा है कि इस अवसर पर क्या-क्या होता था। इन घटनाओं को हम खुल कर यहां नहीं लिख सकते हैं।
कौन थे महाराजा भूपिंदर सिंह
महाराजा भूपिंदर सिंह पटियाला का जन्म 12 अक्तूबर 1891 को मोती बाग पैलेस, पटियाला में हुआ था। पिता महाराजा राजिंदर सिंह की मौत के बाद राज्य के शासक बनें भूपिंदर सिंह ने 38 वर्षों तक राज किया। सिख परिवार परिवार में पैदा हुए इस शासक के बारे में कहा जाता है कि उन्होंने 10 से अधिक बार शादी की थी।
एक अनुमान के अनुसार 88 बच्चों के पिता थे। इनके पास विश्व प्रसिद्ध "पटियाला हार"था, जिसे प्रसिद्ध ब्रांड कार्टियर एसए द्वारा निर्मित किया गया था। इनकी पत्नी महारानी बख्तावर कौर इतनी सुंदर थीं कि उनको क्वीन मैरी की उपाधि प्राप्त थी।
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