Tuesday 4 September 2012

जब आज़म साहिब को मानाने के लिए जाना पड़ा सीएम साहिब को ... ?

लखनऊ- यूपी की अखिलेश सरकार में कैबिनेट स्तर के मंत्री अधिकारियों के तबादले के लिए कोप-भवन की शरण ले रहे हैं, नगर विकास मंत्री आजम खां की नाराजगी के बाद लखनऊ नगर निगम के नगर आयुक्त एनपी सिंह का तबादला कर प्रतिक्षासूची में डाल दिया है, नगर विकास व संसदीय कार्य मंत्री आजम खां ने लखनऊ नगर निगम के नगर आयुक्त एनपी सिंह को निलंबित करने की सिफारिश की थी, सिफारिश न मानने के बाद नाराज चल रहे नगर विकास मंत्री ने विभाग के कामकाज से बेरूखी दिखानी शुरू कर दी थी, एक बैठक में अधिकारियों पर बरस पड़े.

पिछले दो साल में 489 करोड़ 89 लाख रूपये का नुकसान ?

आगरा- यूपी की ताज नगरी आगरा में बिजली वितरण निजी टोरंट कंपनी को देने से राज्य को पिछले दो साल में 489 करोड़ 89 लाख रूपये का नुकसान हुआ है, महालेखाकार की रिपोर्ट में इस नुकसान का खुलासा हुआ है, रिपोर्ट में कहा गया है कि राज्य की पूर्व सीएम मायावती ने कम कीमत पर टोरंट कंपनी को बिजली वितरण की व्यवस्था बीस साल के लिए लीज पर दी थी.

ट्रांसफर पोस्टिंग की अर्जियों से परेशान ?

यूपी के दो मंत्री सरकारी विभागों मे मनचाहे ट्रांसफर के लिए आने वाली सिफिरिशो से परेशान हैं, ट्रांसफर पोस्टिंग के लिए लगातार बढ़ती इन सिफारिशों से तंग आ कर अखिलेश सरकार के इन दो मंत्रियो ने विधानसभा के अन्दर अपने दफ्तर के बाहर एक तख्ती लगा दी है, इस तख्ती पर साफ़-साफ़ लिख दिया गया है कि कृपया ट्रांसफर और पोस्टिंग के लिए यहां संपर्क ना करें, इन मंत्रियो मे सब से पहला नाम है यूपी के खाद्य, रसद और कारागार मंत्री  रघुराज प्रताप सिंह उर्फ़ राजा भैया और दुसरे हैं यूपी के परिवाहन मंत्री राजा अरिदमन सिंह हैं.

मुझे गर्व है, मेरी वाइफ एक पोर्न स्टार है- डेनियल वेबर


पोर्न स्टार से बॉलीवुड एक्ट्रेस बनी सनी लियोनी आए दिन किसी न किसी वजह से चर्चा में रहती हैं. 'जिस्म 2' से बॉलीवुड में एंट्री कर सुर्ख़ियों में आने वाली सनी को उनके पति बहुत डेनियल वेबर बहुत प्यार करते हैं. 

क्यूँ मुंह छुपा रही है आजकल प्रीटी जिन्टा ?

प्रिटी जिंटा काफी दिनों से बड़े पर्दे पर नजर नहीं आई हैं, हाल ही में उन्हें मुंबई एयरपोर्ट से निकलते देखा गया, दिलचस्प बात यह रही कि प्रिटी ने न सिर्फ मीडिया से बात करने से इनकार किया, बल्कि आश्चर्यजनक रूप से अपना चेहरा भी छुपाने लगीं, एयरपोर्ट लॉबी से अपनी कार तक पहुंचने के पूरे रास्ते वे ऐसा ही करती रहीं,

सिपाहियों ने एक व्यापारी से एक लाख रुपए लूट लिये ?

गोरखपुर- यूपी में अपराध पर लगाम कसने के लिए जिलों के आईजी, डीआईजी और एसएसपी भी अपने पुलिसकर्मियों की काउंसिलिंग कर रहे हैं और बेहतर छवि बनाने के लिए हेल्पलाइन सेवाओं को दुरुस्त किया जा रहा है, लेकिन गोरखपुर की एक घटना अधिकारियों की सारी कोशिशों पर पानी फेर दिया, दरअसल, यहां मोटरसाइकिल पर सवार सिपाहियों ने एक व्यापारी से एक लाख रुपए लूट लिये, घटना के बाद शिकायत के आधार पर शाहपुर थाने में लुटेरे सिपाहियों की शिनाख्त के लिए पुलिसकर्मियों की परेड कराई गई.

नशे में चूर एक पुलिस वाले ने जब ..... ?


इलाहाबाद. वर्दी के नशे में चूर एक पुलिस वाले ने जब ऑटो चालक को निर्दयतापूर्वक पीटना शुरू किया तो लोगों का गुस्सा भी भड़क उठा, मेयोहाल चौराहे पर हुई इस घटना में लोगों ने पुलिस पर जवाबी हमला कर दिया और उसे सड़क पर जमकर पीटा, दीपचंद नाम का यह सिपाही इलाहाबाद में तैनात है, आज मेयोहाल चौराहे से गुजरते समय उसकी झड़प एक ऑटो वाले से हो गयी, इसके बाद सिपाही ने ऑटो वाले को डंडे से मारकर घायल कर दिया, इसके बाद मौके पर इकट्ठा लोग भड़क गए और सिपाही को दौड़ा-दौड़ा कर पीटने लगे, सिपाही लोगों से कहता रहा की वह पुलिस में है और हाईकोर्ट में तैनात है, लेकिन लोगों का गुस्सा नहीं थमा, मौके पर पहुंची पुलिस ने उसे लोगों से छुड़ाया और जीप में बैठा कर ले गए, इस बारे में पुलिस अधिकारी यह तो मान रहे हैं कि मार खाने वाला पुलिस का सिपाही है, इस मामले में ज्यादा बोलने से इनकार कर रहे हैं...

सीएम ने यूपी के सबसे बड़े डेरी प्लांट का शिलान्यास किया ?

लखनऊ- यूपी की सपा सरकार ने अपने चुनावी घोषणापत्र में किये गये एक और वायदे को अमली जामा पहना दिया है, सोमवार को सीएम ने यूपी के सबसे बड़े डेरी प्लांट का शिलान्यास किया है, इस दौरान उन्होंने बेरोजगारी भत्ता, कन्या विद्या धन को लेकर अपनी सरकार की प्रतिबद्धता दोहरायी तो वहीं बिजली संकट को लेकर कड़े कदम उठाये जाने का भरोसा दिया.

सोमवार को राजधानी में सुल्तानपुर रोड पर राजकीय पशुधन प्रक्षेत्र में अत्याधुनिक संसाधनों से लैस डेयरी संयंत्र की नींव रखी गयी, पांच लाख लीटर दूध के प्रसंस्करण की क्षमता वाले इस संयंत्र की वजह से लखनऊ के 16 जिलों की 4862 दुग्ध समितियों के सवा दो लाख दुग्ध उत्पादकों को फायदा पहुंचेगा, प्रत्येक दिन इसमें दो लाख लीटर दूध की पैकिंग की जाएगी, राजधानी लखनऊ के बाद बुंदेलखंड पर फोकस किया जायेगा, जहां कम से कम 10 लाख लीटर की प्रसंस्करण क्षमता वाली डेयरी लगाने की तैयारी है, पश्चिमी यूपी में भी ऐसी ही डेयरी स्थापित की जाएगी.

 इसके लिए सीएम के निर्देश पर परियोजना रिपोर्ट तैयार की जा रही है, लखनऊ में बनने वाले डेयरी संयंत्र के निर्माण को वैसे तो तीन साल में पूरा किया जाना है पर सीएम की विशेष रुचि को देखते हुए इसे और भी कम समय में पूरा करने की कोशिश की जा रही है, अधिकारियों के मुताबिक अत्याधुनिक मशीनों से लैस इस डेयरी में दूध व अन्य उत्पादों की टेट्रा पैकिंग की जाएगी, शुरुआत में इस डेयरी संयंत्र की क्षमता पांच लाख लीटर की होगी, जिसे बाद में बढ़ाया जा सकेगा, करीब 25 एकड़ क्षेत्रफल में बनने वाली इस डेयरी में दुधारू पशुओं की उन्नति जाति तैयार करने का काम भी किया जाएगा, इस डेयरी में लखनऊ व इसके आसपास के 16 जिलों के दुग्ध उत्पादकों को अपने माल की सही कीमत मिलेगी और उनको उन्नत प्रजाति के पशु भी मिल सकेंगे.
आपको यह ब्लॉग कैसा लगा, इस खबर के बारे मैं आपके क्या विचार हैं आप अपनी राय हमको ज़रूर दें !

Monday 3 September 2012

कड़वी सच्चाई पढ़कर आपको आश्चर्य होगा पर यह सच है ?


मिर्ज़ापुर- शिक्षिका का डंडा कुछ ऐसा चला कि एक छात्र को आंख गवानी पड़ी, यह कड़वी सच्चाई पढ़कर आपको आश्चर्य होगा पर यह सच है, मिर्ज़ापुर के एक प्राइमरी स्कूल में पढ़ने वाले एक छात्र ने गुरु पर मानवीय संवेदनहीनता का आरोप लगाया है, छात्र की गलती बस इतनी थी कि मिड-डे मिल के लिए वह दौड़कर सबसे पहले रसोई तक पहुंच गया और खाना पहले मांगने लगा था.

मसूद की दरगाह पर- लोग यहां मन्नतें मांगने के लिए आने लगे...?


बहराइच- सालार मसूद गाजी यहीं मारा गया था, महमूद गजनवी का भांजा, उसकी पूरी फौज जिस जगह जंग में मारी गई, वह अब दूर तक फैली पुरानी कब्रों का एक बड़ा इलाका है, सालार मसूद की कब्र की प्रसिद्धि वक्त के साथ एक सूफी संत की शक्ल में हो गई, लोग यहां मन्नतें मांगने के लिए आने लगे, अब यह हर रोज सैकड़ों श्रद्धालुओं की चहल-पहल से आबाद जगह है, यहां सवा सौ कर्मचारियों का अमला देखभाल करता है.

यूं मचा तहलका जब इनकी फिसली जुबान....?

लखनऊ- यूपी में मंत्रियों की बदजुबानी का सिलसिला जारी है, अखिलेश यादव सरकार के वरिष्ठ मंत्री मोहम्मद आजम खान ने एक मीटिंग के दौरान आपा खोते हुए बड़े ओहदे पर बैठे अफसर को 'बदतमीज' तक कह डाला, दरअसल आजम खान ने शहरी विकास मंत्रालय की एक बैठक बुलाई थी, इस बैठक में प्रधान सचिव (शहरी विकास) प्रवीर कुमार को भी शामिल होना था, लेकिन जब शहरी विकास मंत्री आजम खान बैठक में पहुंचे तो उन्हें पता चला कि प्रवीर कुमार वहां नहीं हैं, मौके की नजाकत को देखते हुए शहरी विकास मंत्रालय में विशेष सचिव विष्णु स्वरूप मिश्रा ने आजम खान को समझाने की कोशिश की....?

शादी में हो रही देरी से परेशान पुजारी ने .... ?


गोरखपुर- शादी में हो रही देरी से परेशान एक पुजारी ने भगवान कृष्ण के मंदिर में ही चोरी कर डाली, मामला गोरखपुर शहर के कोतवाली थाना इलाके के अलीनगर मोहल्ले का है, जहां पुलिस ने राधा कृष्ण के मंदिर के एक नौजवान पुजारी बद्रीनाथ दुबे को जन्माष्ठमी के दिन मंदिर से तीन किलो चांदी के आभूषण, मुकुट, छतरी और पलना उड़ाने के आरोप में आज गिरफ्तार किया है.

वर्दी के नशे में चूर एक पुलिस वाले ने जब ऑटो चालक को ...?


इलाहाबाद- वर्दी के नशे में चूर एक पुलिस वाले ने जब ऑटो चालक को निर्दयतापूर्वक पीटना शुरू किया तो लोगों का गुस्सा भी भड़क उठा। मेयोहाल चौराहे पर हुई इस घटना में लोगों ने पुलिस पर जवाबी हमला कर दिया और उसे सड़क पर जमकर पीटा.

यह कैसी इंसानियत ? मां और तीनों बच्चे कार में ही....?


अपनी कार से गांव झरना जा रहा एक परिवार जांजगीर-चांपा के घुंडी नाले में फंस गया, भारी बारिश थी, नाले में बाढ़ थी, कार में परिवार के मुखिया समेत उसकी पत्नी और तीन बच्चे थे, आदमी तो किसी तरह बाहर निकला पर मां और तीनों बच्चे कार में ही रह गए. 

तो पुलिसवाले बोले कोई मरा तो नहीं ना...?


शौक से घूमने आए थे इंदौर, 'अपनों' ने ही कर दिया शर्मसार
इंदौर- ऑस्ट्रेलिया से इंदौर घूमने आए दंपती पर रेसकोर्स रोड पर बर्बरतापूर्ण हमला करने वाले आरोपियों को एक दिन में ही रविवार को जमानत मिल गई, कारण यह रहा कि पुलिस ने मामले में मारपीट, गाली-गलौज व धमकी की धाराएं लगाई थीं, दंपती का आरोप है कि समझौते के लिए कांग्रेस नेताओं का दबाव आ रहा है, उधर, नेता प्रतिपक्ष व प्रदेश प्रवक्ता सहित अन्य नेता रविवार को थाने भी पहुंचे लेकिन मीडिया के कैमरे देख इधर-उधर हो गए, जहां हम एक तरफ 'अतिथि देवो भव:' कहते हैं, वहीं दूसरी ओर पर्यटकों के साथ ऐसी ओछी हरकतें देश को भी शर्मिंदा कर देती हैं.

अंग्रेजी चैनल तो देश की नहीं, ओबामा की खबर देते हैं- राज ठाकरे



मुंबई- राज ठाकरे के बयान पर बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बेहद तल्ख टिप्पणी करते हुए कहा है कि महाराष्ट्र सरकार को शर्म आनी चाहिए, वो सिरफिरा मुंह लगाने के काबिल नहीं है लेकिन सीधा सवाल महाराष्ट्र सरकार से है कि क्या उन्होंने अपनी सारी जिम्मेवारी छोड़ दी है ? क्या राज्य के काम को आउटसोर्स कर दिया गया है, किस प्रकार की सरकार कांग्रेस पार्टी चला रही है?

आज के सबसे बड़े ठग हैं बाबा रामदेव- पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह


इंदौर- कांग्रेस महासचिव एवं मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने योगगुरू बाबा रामदेव को आज सबसे बड़ा ठग कहते हुये आज कहा कि ठगी खुलती जा रही हैं तो बाबा बौखला गये हैं. वही महाराष्ट्र नव निर्माण सेना के अध्यक्ष राज ठाकरे द्वारा बिहारवासियों को धमकी देने पर कहा कि ठाकरे खुद बिहारी हैं इनके खिलाफ कारवाही होना चाहिए.

Saturday 1 September 2012

कोडनानी को परिजन मिलने के लिए जुटे

सरकारी वकील अखिल देसाई ने बताया कि कोडनानी को पहले धारा 326 के तहत 10 साल की कैद काटनी होगी, फिर धारा 302 के तहत उनकी उम्र कैद की सजा शुरू होगी, इस तरह उन्‍हें कुल 28 साल जेल में बिताने होंगे, बाबू बजरंगी को ताउम्र जेल में सजा काटनी होगी, कोर्ट ने कोडनानी और बजरंगी को दंगे की साजिश रचने का दोषी पाया है, बाकी दोषियों में से सात को 31-31 साल जबकि 22 दोषियों को

जैसा करेगा, वैसा भरेगा

सामाजिक कार्यकर्ता तीस्‍ता शीतलवाड़ ने कोर्ट के फैसले का स्‍वागत करते हुए कहा कि इस तरह के इंसाफ से लोगों का सिस्‍टम में भरोसा बढ़ता है, उन्‍होंने कहा, हम अपील करते हैं कि नरोडा पाटिया में शांति कायम रहे क्‍योंकि पीडित बदले की कार्रवाई का शिकार होने के डर से सहमे हुए हैं, कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने कहा, नरेंद्र मोदी की मंत्री को सजा हुई है, अब मोदी को भी आत्‍म अवलोकन करना चाहिए, कांग्रेस प्रवक्‍ता राशिद अल्‍वी ने कहा, हम कोर्ट के फैसले का स्‍वागत करते हैं, यह फैसला मील का पत्‍थर साबित होगा, उम्‍मीद करते हैं कि समूचा देश इस फैसले का सम्‍मान करेगा, केंद्रीय मंत्री कपिल सिब्‍बल ने कहा, जैसा करेगा, वैसा भरेगा

{फोटो: बुधवार को दोषी ठहराए जाने के बाद माया कोडनानी को जेल ले जाती पुलिस}

Photo: गोधरा में साबरमती एक्सप्रेस अग्निकांड (27 फरवरी 2002) के एक दिन बाद विहिप ने गुजरात बंद का आह्वान किया। 28 फरवरी को पूर्वी अहमदाबाद के नरोडा पाटिया में दंगा भड़क गया जिसमें 97 लोगों की हत्या कर दी गई। भाजपा पार्षद किशन कोराणी, बिपिन पंचाल और अशोक सिंघी भी दोषियों में शामिल हैं। कोर्ट ने इस मामले में 29 लोगों को सबूत के अभाव में बरी कर दिया है। मामले में 70 आरोपी थे। तीन फरार हैं, जबकि छह की मौत हो चुकी है। सरकारी वकील अखिल देसाई ने सुनवाई के दौरान दोषियों के लिए मृत्‍युदंड देने की मांग की थी। हालांकि बचाव पक्ष के वकील निरंजन टिकानी ने सजा में उदारता बरतने का कोर्ट से अनुरोध किया था। {फोटो: बुधवार को दोषी ठहराए जाने के बाद माया कोडनानी को जेल ले जाती पुलिस}गोधरा में साबरमती एक्सप्रेस अग्निकांड (27 फरवरी 2002) के एक दिन बाद विहिप ने गुजरात बंद का आह्वान किया। 28 फरवरी को पूर्वी अहमदाबाद के नरोडा पाटिया में दंगा भड़क गया जिसमें 97 लोगों की हत्या कर दी गई। भाजपा पार्षद किशन कोराणी, बिपिन पंचाल और अशोक सिंघी भी दोषियों में शामिल हैं। कोर्ट ने इस मामले में 29 लोगों को सबूत के अभाव में बरी कर दिया है। मामले में 70 आरोपी थे। तीन फरार हैं, जबकि छह की मौत हो चुकी है। सरकारी वकील अखिल देसाई ने सुनवाई के दौरान दोषियों के लिए मृत्‍युदंड देने की मांग की थी। हालांकि बचाव पक्ष के वकील निरंजन टिकानी ने सजा में उदारता बरतने का कोर्ट से अनुरोध किया था। {फोटो: बुधवार को दोषी ठहराए जाने के बाद माया कोडनानी को जेल ले जाती पुलिस}

{फोटो: बुधवार को कोर्ट जातीं माया कोडनानी}


Photo: {फोटो: बुधवार को कोर्ट जातीं माया कोडनानी}

2002 में मानवाधिकार आयोग, अल्पसंख्यक आयोग और महिला आयोग की रिपोर्ट में दंगों के लिए मोदी सरकार को दोषी ठहाराया गया। ब्रिटिश रिपोर्ट भी आई, जिसमें कहा गया कि मोदी सरकार ने दंगाइयों की मदद की। इसी साल राज्‍य में चुनाव थे। दंगों की रिपोर्टें मुद्दा बनी। लेकिन मोदी के नेतृत्व में भाजपा को 182 में से 126 सीटें मिलीं। 2007 में सुप्रीम कोर्ट द्वारा नियुक्त सक्सेना समिति की रिपोर्ट में तल्ख टिप्पणियां की गईं। कुछ महीनों बाद तहलका का स्टिंग ऑपरेशन आया। जिसमें बताया गया कि दंगों में गुजरात सरकार की गहरी भूमिका थी। तब भी चुनाव थे। 2007 के चुनाव में भी दंगों पर आईं रिपोर्टें मुद्दा बनीं। इस बार भाजपा 117 सीटों पर विजयी रही।2002 में मानवाधिकार आयोग, अल्पसंख्यक आयोग और महिला आयोग की रिपोर्ट में दंगों के लिए मोदी सरकार को दोषी ठहाराया गया। ब्रिटिश रिपोर्ट भी आई, जिसमें कहा गया कि मोदी सरकार ने दंगाइयों की मदद की। इसी साल राज्‍य में चुनाव थे। दंगों की रिपोर्टें मुद्दा बनी। लेकिन मोदी के नेतृत्व में भाजपा को 182 में से 126 सीटें मिलीं। 2007 में सुप्रीम कोर्ट द्वारा नियुक्त सक्सेना समिति की रिपोर्ट में तल्ख टिप्पणियां की गईं। कुछ महीनों बाद तहलका का स्टिंग ऑपरेशन आया। जिसमें बताया गया कि दंगों में गुजरात सरकार की गहरी भूमिका थी। तब भी चुनाव थे। 2007 के चुनाव में भी दंगों पर आईं रिपोर्टें मुद्दा बनीं। इस बार भाजपा 117 सीटों पर विजयी रही।

मौत को तरसे जिंदगी भी खराब कर ली ? नरोडा नरसंहार


Photo: मौत को तरसे जिंदगी भी खराब कर ली ? नरोडा नरसंहार
अहमदाबाद. गुजरात के नरोडा पाटिया नरसंहार मामले में सभी 32 दोषियों को शुक्रवार को सजा सुना दी गई। इस मामले में दोषी करार दी गई पूर्व मंत्री माया कोडनानी को 28 साल जबकि बाबू बजरंगी को जिंदा रहने तक जेल में बिताने होंगे,मौत को तरसे जिंदगी भी खराब कर ली ? 
सजा के ऐलान के बाद कोर्ट के बाहर बड़ी संख्‍या में लोग जमा हो गए, गुस्‍साए लोग 'मोदी हाय-हाय' के नारे लगाने लगे, फैसले के मद्देनजर कोर्ट परिसर में सुरक्षा के कडे इंतजाम किए गए थे, नरोडा में भी एहतियातन सुरक्षा के कड़े बंदोबस्‍त किए गए, शहर में रैपिड एक्‍शन फोर्स के जवान तैनात किए गए, स्‍थानीय प्रशासन ने नरोडा में बंद रखवा दिया.
कोडनानी नरेंद्र मोदी सरकार से जुड़ी पहली शख्‍स हैं जिन्‍हें दंगों का दोषी ठहराया गया है, साल 2002 में गुजरात में हुए दंगों के समय हुए नरोडा पाटिया हत्या कांड मामले में कोर्ट ने कोडनानी और बाबू बजरंगी सहित 32 लोगों को दोषी ठहराया था, 31 दोषियों को जेल भेज दिया गया है जबकि एक दोषी फरार है, आरोपी नंबर 26 सुरेश लंगड़ा को भी बाबू बजरंगी की तरह ताउम्र जेल की सजा सुनाई गई है.
विपक्ष लगातार दंगों में मुख्‍यमंत्री मोदी की भूमिका होने के आरोप लगाता रहा है, लेकिन मोदी का साफ मानना है कि उन्‍होंने कोई गलती नहीं की है, वह इसी तर्क के आधार पर माफी की मांग को भी नकारते रहे हैं, हाल ही में उन्‍होंने एक इंटरव्यू में कहा कि अगर वह दोषी हैं तो उन्‍हें फांसी पर लटका दिया जाए, कांग्रेस ने नरेंद्र मोदी का इस्‍तीफा मांगा तो बीजेपी ने सीएम का बचाव करते हुए कहा कि दंगों में उनका नाम बेवजह घसीटा जा रहा है... इस खबर पर आप अपनी राय सम्मान जनक शब्दों मैं दें!अहमदाबाद. गुजरात के नरोडा पाटिया नरसंहार मामले में सभी 32 दोषियों को शुक्रवार को सजा सुना दी गई। इस मामले में दोषी करार दी गई पूर्व मंत्री माया कोडनानी को 28 साल जबकि बाबू बजरंगी को जिंदा रहने तक जेल में बिताने होंगे,मौत को तरसे जिंदगी भी खराब कर ली ? 

बाबू बजरंगी पर आईपीसी की 302 जैसी संगीन धाराएं

Photo: बजरंगी इस केस में आरोपी नंबर 18 हैं, कोडनानी और बाबू बजरंगी पर आईपीसी की 302 जैसी संगीन धाराएं लगाई हैं, 120 बी सहित आईपीसी की विभिन्न धाराओं के तहत दोनों को दोषी पाया है, 149 की धारा का भी कोर्ट ने उल्लेख किया है, इससे दोनों को उम्र कैद से लेकर फांसी तक की सजा दी जा सकती है...बजरंगी इस केस में आरोपी नंबर 18 हैं, कोडनानी और बाबू बजरंगी पर आईपीसी की 302 जैसी संगीन धाराएं लगाई हैं, 120 बी सहित आईपीसी की विभिन्न धाराओं के तहत दोनों को दोषी पाया है, 149 की धारा का भी कोर्ट ने उल्लेख किया है, इससे दोनों को उम्र कैद से लेकर फांसी तक की सजा दी जा सकती है...

एमएनएस को यह बर्दाश्‍त नहीं

Photo: गौरतलब है कि एमएनएस ने आशा भोंसले को पाकिस्‍तानी कलाकारों के साथ मंच शेयर न करने धमकी दी है, रिएलिटी शो 'सुरक्षेत्र' में आशा भोंसले और हिमेश रेशमिया के साथ पाकिस्‍तानी गायक आतिफ असलम, रुना लैला और आबिदा परवीन एक साथ मंच पर दिखेंगे, लेकिन एमएनएस को यह बर्दाश्‍त नहीं हो रहा है...गौरतलब है कि एमएनएस ने आशा भोंसले को पाकिस्‍तानी कलाकारों के साथ मंच शेयर न करने धमकी दी है, रिएलिटी शो 'सुरक्षेत्र' में आशा भोंसले और हिमेश रेशमिया के साथ पाकिस्‍तानी गायक आतिफ असलम, रुना लैला और आबिदा परवीन एक साथ मंच पर दिखेंगे, लेकिन एमएनएस को यह बर्दाश्‍त नहीं हो रहा है...

मुख्यमंत्री की इन सबमें कितनी हिस्सेदारी है

Photo: अदालत ने बीते 30 जून की सुनवाई में 29 अगस्त को फैसले सुनाए जाने की तारीख तय की थी, फैसले के मद्देनजर पश्चिमी अहमदाबाद स्थित अदालत परिसर में सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई थी, नरोडा पाटिया दंगा मामले में बीजेपी सरकार की पूर्व मंत्री माया कोडनानी के दोषी करार होने के बाद कांग्रेस हमलावर हो गई है, कांग्रेस महासचिव दिग्विजय सिंह ने कहा कि आज के फैसले से साफ है कि पूरे दंगे में सरकार किस तरह काम रही थी, उन्होंने कहा कि अब जांच एजेंसियों को मोदी की भूमिका पर फिर से जांच करने की जरूरत है, दिग्विजय ने कहा कि सोहराबुद्दीन एनकाउंटर केस में फंसे अमित शाह का मामला हो या माया कोडनानी का, सवाल यह है कि क्या इनमें से कोई भी इस तरह का काम बिना सीएम की शह के कर सकता था ? इसलिए जांच एजेंसियों को इस पर विचार किया जाना चाहिए कि मुख्यमंत्री की इन सबमें कितनी हिस्सेदारी है और कितनी जवाबदारी बनती है...अदालत ने बीते 30 जून की सुनवाई में 29 अगस्त को फैसले सुनाए जाने की तारीख तय की थी, फैसले के मद्देनजर पश्चिमी अहमदाबाद स्थित अदालत परिसर में सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई थी, नरोडा पाटिया दंगा मामले में बीजेपी सरकार की पूर्व मंत्री माया कोडनानी के दोषी करार होने के बाद कांग्रेस हमलावर हो गई है, कांग्रेस महासचिव दिग्विजय सिंह ने कहा कि आज के फैसले से साफ है कि पूरे दंगे में सरकार किस तरह काम रही थी, उन्होंने कहा कि अब जांच एजेंसियों को मोदी की भूमिका पर फिर से जांच करने की जरूरत है, दिग्विजय ने कहा कि सोहराबुद्दीन एनकाउंटर केस में फंसे अमित शाह का मामला हो या माया कोडनानी का, सवाल यह है कि क्या इनमें से कोई भी इस तरह का काम बिना सीएम की शह के कर सकता था ? इसलिए जांच एजेंसियों को इस पर विचार किया जाना चाहिए कि मुख्यमंत्री की इन सबमें कितनी हिस्सेदारी है और कितनी जवाबदारी बनती है...

क्या मोदी मौतों के लिए जिम्मेदार नहीं ? मिल सकती है माफी

Photo: क्या मोदी मौतों के लिए जिम्मेदार नहीं ? मिल सकती है माफी

 गुजरात के मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी ने फिर कहा है कि अगर वे गुनहगार हैं, तो उन्हें फांसी पर लटका दिया जाना चाहिए, मोदी ने कहा, अगर मैं दोषी हूं तो मुझे इस तरह से फांसी दो कि लोग 100 साल तक याद रखें कि ऐसा कुछ नहीं होना चाहिए. 
उर्दू की साप्ताहिक पत्रिका 'नई दुनिया' को दिए गए इंटरव्यू में मोदी ने यह बात कही है, इस पत्रिका में इंटरव्यू को 'कवर स्टोरी' के तौर पर पेश किया गया है, इंटरव्यू समाजवादी पार्टी के नेता और 'नई दुनिया' के संपादक शाहिद सिद्दिकी ने किया है, इंटरव्यू 6 पन्नों में छपा है और इसमें गोधरा के बाद के दंगे, गुजरात में मुसलमानों की हालत और अन्य संवेदनशील मुद्दों पर मोदी से बातचीत की गई है.
 
नरेंद्र मोदी के बयान पर राजनीतिक प्रतिक्रियाएं आने लगी हैं, बीजेपी के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष राजनाथ सिंह ने मोदी का बचाव किया है, वहीं, कांग्रेस ने कहा है कि अगर मोदी को गुजरात दंगों पर कुछ कहना है तो मीडिया में नहीं बल्कि कोर्ट में आकर बोलें, केंद्रीय कानून मंत्री सलमान खुर्शीद ने कहा है कि मोदी को लोगों के लिए काम करना चाहिए.   
इंटरव्यू लेने वाले शाहिद सिद्दिकी की पार्टी समाजवादी पार्टी के नेता मोहम्मद आज़म खान ने इस बारे में कहा है कि मोदी तमाम लोगों की मौत के लिए जिम्मेदार हैं, आजम के मुताबिक मोदी को ज़मीन से लेकर आसमान तक कोई माफ नहीं कर सकता है.  
इंटरव्यू के मुताबिक नरेंद्र मोदी ने कहा है कि अगर वह बेकसूर हैं तो मीडिया और उन पर आरोप लगाने वाले उनसे माफी मांगें, मोदी से पूछा गया क‌ि वे गुजरात दंगों के लिए माफी क्यों नहीं मांगते ? इसके जवाब में मोदी ने कहा कि गुजरात दंगे जैसा कांड देश में होता है तो केवल माफी मांगना काफी नहीं है, इसमें मैं गुनहगार पाया जाता हूं तो मुझे फांसी पर लटका दिया जाए, मोदी ने ऐसी ही बात पिछले साल सितंबर में अपनी सद्भावना उपवास के दौरान भी कही थी.
 
इंटरव्यू में मोदी से पूछा गया कि आप देश के प्रधानमंत्री क्यों बनना चाहते हैं ? तो उन्होंने कह‌ा कि वह प्रधानमंत्री नहीं बनना चाहते, वह केवल गुजरात के विकास और गुजरातियों के बारे में सोचते हैं,  मोदी को लेकर सोच में बदलाव के मुद्दे पर सिद्दिकी ने बड़ी साफगोई से लिखा है कि नरेंद्र मोदी के इंटरव्यू का फैसला उन्होंने मुंबई में बॉलीवुड की दो बड़ी फिल्मी हस्तियों-महेश भट्ट और सलीम खान के साथ लंच के बाद लिया, सिद्दिकी के मुताबिक महेश भट्ट और सलीम खान ने उन्हें बताया कि गुजरात दंगों और मुसलमानों को लेकर मोदी की सोच में बदलाव आ रहा है, बकौल सिद्दिकी इंटरव्यू की सलाह महेश और सलीम ने ही दी थी, महेश भट्ट नरेंद्र मोदी के बड़े आलोचक माने जाते रहे हैं,
शाहिद सिद्दीकी ने कहा कि वे कभी नहीं सोचते थे कि मोदी इंटरव्यू के लिए तैयार होंगे, क्या इस इंटरव्यू को मोदी को लेकर मुलायम सिंह यादव या समाजवादी पार्टी की सोच बदलने का सुबूत माना जा सकता है ? इस सवाल के जवाब में शाहिद ने कहा, इस इंटरव्यू का सपा या मुलायम सिंह यादव से कोई लेनादेना नहीं है, मैं पहले पत्रकार हूं और बाद में राजनेता...गुजरात के मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी ने फिर कहा है कि अगर वे गुनहगार हैं, तो उन्हें फांसी पर लटका दिया जाना चाहिए, मोदी ने कहा, अगर मैं दोषी हूं तो मुझे इस तरह से फांसी दो कि लोग 100 साल तक याद रखें कि ऐसा कुछ नहीं होना चाहिए. 

नरेंद्र मोदी, कपिल सिब्बल राजनीतिक जंग


Photo: नरेंद्र मोदी, कपिल सिब्बल राजनीतिक जंग

अहमदाबाद- इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट (आईआईएम)-अहमदाबाद अब नरेंद्र मोदी, कपिल सिब्बल और अन्य दलों के लिए राजनीतिक जंग का नया स्थल बन गया है, अब नया टकराव आईआईएम-अहमदाबाद के डायरेक्टर की नियुक्ति को लेकर है, उल्लेखनीय है वर्तमान डायरेक्टर समीर बरुआ की टर्म आगामी अक्टूबर मंे पूरी हो रही है.

आईआईएम के भूतपूर्व चेयरमैन विजयपथ सिंघानिया ने नए डायरेक्टर की तलाश व नियुक्ति के लिए एक समिति भी बनाई थी, जिसका बोर्ड के कुछ सदस्यों ने पुरजोर विरोध भी किया था, आपसी द्वंद के चलते आखिरकार यह समिति बिखरकर खत्म हो गई, नई समिति की रचना को लेकर मानव संसाधन विकास मंत्रालय (एमएचआरडी) और राज्य सरकार ने अपने-अपने प्रतिनिधियों की मांग की थी, जिसे केंद्र सरकार द्वारा अस्वीकार कर दिया गया था, इसलिए अब यह प्रकिया बहुत जटिल होती जा रही है.

अगर डायरेक्टर पद के लिए कुछ नाम सामने आ भी रहे हैं तो उनके खिलाफ आक्षेप भी लग रहे हैं, इसलिए यह मुद्दा अब राजनीतिक रंग लेने लगा है, फैकल्टी मैंबर्स का ऐसा मानना है कि मोदी सरकार अपने फायदे हेतु अनुकूल उम्मीदवार के लिए लॉबिंग कर रही है.

चर्चा तो यहां तक है कि मुख्यमंत्री मोदी की इच्छा है कि जिस तरह लालू प्रसाद यादव को रेलवे में सुधार लाने हेतु आईआईएम-ए का प्रमाण-पत्र मिल गया था, उसी प्रकार गुजरात के विकास को लेकर उन्हें भी इस प्रतिष्ठित इंस्टीट्यूट की ओर से एक प्रमाण पत्र मिल जाए, उल्लेखनीय है कि 2006 में आईआईएम-ए के प्रोफेसर रघुराम द्वारा तैयार किए गए एकेडमिक पेपर में लालूप्रसाद यादव की भरपूर प्रशंसा की गई थी.

दूसरी तरफ, आईआईएम के मामले में एमएचआरडी ने हमेशा से अपना वर्चस्व कायम रखा है, क्योंकि डायरेक्टर की नियुक्ति का अंतिम निर्णय यही मंत्रालय करता है, इसीलिए आज भी इस इंस्टीट्यूट की स्वायत्ता के लिए लड़ाई चालू है, नियुक्ति के बाद महत्वपूर्ण रिसर्च प्रोजेक्ट्स, कन्सलटेशन आदि केंद्र सरकार और उसकी विविध एजेंसियों की ओर से ही आते हैं, उदाहरणस्वरूप भूतपूर्व रेलवे मंत्री दिनेश त्रिवेदी ने हाल ही में जो रेल बजट पेश किया था, उसकी महत्वपूर्ण जिम्मेदारी प्रोफेसर जी. रघुराम को ही सौंपी गई थी.

गुजरात की बात की जाए तो केंद्र सरकार और गुजरात सरकार के संबंध कैसे हैं, यह तो बताने की जरूरत ही नहीं, इसलिए आईआईएम-अहमदाबाद के डायरेक्टर की नियुक्ति में भी मोदी और केंद्र सरकार आमने-सामने हैं...अहमदाबाद- इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट (आईआईएम)-अहमदाबाद अब नरेंद्र मोदी, कपिल सिब्बल और अन्य दलों के लिए राजनीतिक जंग का नया स्थल बन गया है, अब नया टकराव आईआईएम-अहमदाबाद के डायरेक्टर की नियुक्ति को लेकर है, उल्लेखनीय है वर्तमान डायरेक्टर समीर बरुआ की टर्म आगामी अक्टूबर मंे पूरी हो रही है.

केंद्र अहमदाबाद को दिल्ली के भाव पर दें सीएनजी - गुजरात हाईकोर्ट


Photo: केंद्र अहमदाबाद को दिल्ली के भाव पर दें सीएनजी - गुजरात हाईकोर्ट

 गुजरात हाईकोर्ट ने केंद्र सरकार को दिल्ली-मुंबई के भाव पर अहमदाबाद को कंप्रेस्ड नेचुरल गैस (सीएनजी) देने का आदेश दिया है, साथ ही ताकीद की है कि आदेश तत्काल प्रभाव से लागू किया जाए, मुख्य न्यायाधीश भास्कर भट्टाचार्य एवं जेबी पारडीवाडा की पीठ ने बुधवार को यह व्यवस्था दी.

अदालत ने ध्रागंध्रा प्राकृतिक मंडल की ओर से दायर जनहित याचिका पर यह फैसला दिया, आवेदक ने दिल्ली-मुंबई के भाव पर अहमदाबाद को भी एडमिनिस्टर्ड प्राइज मैकेनिज्म (एपीएम) के तहत गैस आपूर्ति की मांग की थी, बुधवार को फैसले पर केन्द्र सरकार के सहायक अधिवक्ता ने सर्वोच्च न्यायालय में चुनौती देने हेतु आदेश पर स्थगन की मांग की जिसे अदालत ने अस्वीकार कर दिया.

स्वास्थ्य की कीमत पर सुशासन नहीं: अदालत ने फैसले में टिप्पणी की कि नागरिकों के स्वास्थ्य की कीमत पर सुशासन नहीं चल सकता, यदि दिल्ली और मुंबई को प्रदूषण का प्रमाण घटाने के लिए इन्हें एपीएम के तहत सीएनजी की आपूर्ति सस्ते में की जाती है तो अहमदाबाद को भी यह लाभ दिया जाए.

दूसरी ओर, राज्य के उद्योग राज्यमंत्री सौरभ पटेल ने कहा कि एपीएम के तहत केन्द्र की ओर से गैस आपूर्ति की दशा में गुजरात सरकार दस रुपए कम करने को तैयार है...गुजरात हाईकोर्ट ने केंद्र सरकार को दिल्ली-मुंबई के भाव पर अहमदाबाद को कंप्रेस्ड नेचुरल गैस (सीएनजी) देने का आदेश दिया है, साथ ही ताकीद की है कि आदेश तत्काल प्रभाव से लागू किया जाए, मुख्य न्यायाधीश भास्कर भट्टाचार्य एवं जेबी पारडीवाडा की पीठ ने बुधवार को यह व्यवस्था दी.

रेहान फज़ल की आपबीती- पत्‍नी के क्रेडिट कार्ड से बची थी जान - गुजरात दंगे


Photo: रेहान फज़ल की आपबीती- पत्‍नी के क्रेडिट कार्ड से बची थी जान - गुजरात दंगे

दस साल पहले गोधरा में ट्रेन जलाए जाने के बाद भड़के दंगे को कवर करने गए बीबीसी संवाददाता रेहान फज़ल को किस तरह दंगाइयों की भीड़ का सामना करना पड़ा और किस तरह उन्होंने अपनी जान बचाई, पढि़ए उनके लिखे इस संस्‍मरण में।
 
27 फ़रवरी 2002 की अलसाई दोपहर. मेरी छुट्टी है और मैं घर पर अधलेटा एक किताब पढ़ रहा हूँ. अचानक दफ़्तर से एक फ़ोन आता है. मेरी संपादक लाइन पर हैं. 'अहमदाबाद से 150 किलोमीटर दूर गोधरा में कुछ लोगों ने एक ट्रेन जला दी है और करीब 55 लोग जल कर मर गए हैं.' मुझे निर्देश मिलता है कि मुझे तुरंत वहाँ के लिए निकलना है. मैं अपना सामान रखता हूँ और टैक्सी से हवाई अड्डे के लिए निकल पड़ता हूँ. हवाई अड्डे के पास भारी ट्रैफ़िक जाम है.अफ़गानिस्तान के राष्ट्रपति हामिद करज़ई का काफ़िला निकल रहा है. मैं देर से हवाई अड्डे पहुँचता हूँ. जहाज़ अभी उड़ा नहीं हैं लेकिन मुझे उस पर बैठने नहीं दिया जाता. मेरे लाख कहने पर भी वह नहीं मानते. हाँ यह ज़रूर कहते हैं कि हम आपके लिए कल सुबह की फ़्लाइट बुक कर सकते हैं. अगले दिन मैं सुबह आठ बजे अहमदाबाद पहुँचता हूँ. अपना सामान होटल में रख कर मैं अपने कॉलेज के एक दोस्त से मिलने जाता हूँ जो गुजरात का एक बड़ा पुलिस अधिकारी है. वह मेरे लिए एक कार का इंतज़ाम करता है और हम गोधरा के लिए निकल पड़ते हैं. मैं देखता हूँ कि प्रमुख चौराहों पर लोग धरने पर बैठे हुए हैं. मेरा मन करता है कि मैं इनसे बात करूँ. लेकिन फिर सोचता हूँ पहले शहर से तो बाहर निकलूँ.अभी मिनट भर भी नहीं बीता है कि मुझे दूर से करीब 200 लोगों की भीड़ दिखाई देती है. उनके हाथों में जलती हुई मशालें हैं. वे नारे लगाते हुए वाहनों को रोक रहे हैं. जैसे ही हमारी कार रुकती है हमें करीब 50 लोग घेर लेते हैं. मैं उनसे कुछ कहना चाहता हूँ लेकिन मेरा ड्राइवर इशारे से मुझे चुप रहने के लिए कहता है. वह उनसे गुजराती में कहता है कि हम बीबीसी से हैं और गोधरा में हुए हमले की रिपोर्टिंग करने वहाँ जा रहे हैं. काफ़ी हील हुज्जत के बाद हमें आगे बढ़ने दिया जाता है. डकोर में भी यही हालात हैं. इस बार हमें पुलिस रोकती है. वह हमें आगे जाने की अनुमति देने से साफ़ इनकार कर देती है. मेरा ड्राइवर गाड़ी को बैक करता है और गोधरा जाने का एक दूसरा रास्ता पकड़ लेता है.छुरे से वार
 
जल्दी ही हम बालासिनोर पहुँच जाते है जहाँ एक और शोर मचाती भीड़ हमें रोकती है. जैसे ही हमारी कार रुकती है वे हमारी तरफ़ बढ़ते हैं. कई लोग चिल्ला कर कहते हैं,'अपना आइडेन्टिटी कार्ड दिखाओ.'  
मैं अपनी आँख के कोने से देखता हूँ मेरे पीछे वाली कार से एक व्यक्ति को कार से उतार कर उस पर छुरों से लगातार वार किया जा रहा है. वह ख़ून से सना हुआ ज़मीन पर गिरा हुआ है और अपने हाथों से अपने पेट को बचाने की कोशिश कर रहा है. उत्तेजित लोग फिर चिल्लाते हैं, 'आइडेन्टिटी कार्ड कहाँ है?' मैं झिझकते हुए अपना कार्ड निकालता हूँ और लगभग उनकी आँख से चिपका देता हूँ. मैंने अगूँठे से अंग्रेज़ी में लिखा अपना मुस्लिम नाम छिपा रखा है. हमारी आँखें मिलती हैं. वह दोबारा मेरे परिचय पत्र की तरफ़ देखता है. शायद वह अंग्रेज़ी नही जानता. तभी उन लोगों के बीच बहस छिड़ जाती है. एक आदमी कार का दरवाज़ा खोल कर उसमें बैठ जाता है और मुझे आदेश देता है कि मैं उसका इंटरव्यू रिकार्ड करूँ. मैं उसके आदेश का पालन करता हूँ. वह टेप पर बाक़ायदा एक भाषण देता है कि मुसलमानों को इस दुनिया में रहने का क्यों हक नहीं है. अंतत: वह कार से उतरता है और उसके आगे जलता हुआ टायर हटाता है.   
 
कांपते हाथ
 
मैं पसीने से भीगा हुआ हूँ. मेरे हाथ काँप रहे है. अब मेरे सामने बड़ी दुविधा है. क्या मैं गोधरा के लिए आगे बढ़ूँ जहाँ का माहौल इससे भी ज़्यादा ख़राब हो सकता है या फिर वापस अहमदाबाद लौट जाऊँ जहाँ कम से कम होटल में तो मैं सुरक्षित रह सकता हूँ.लेकिन मेरे अंदर का पत्रकार कहता है कि आगे बढ़ो. जो होगा देखा जाएगा. सड़कों पर बहुत कम वाहन दौड़ रहे हैं. कुछ घरों में आग लगी हुई है और वहाँ से गहरा धुआं निकल रहा है. चारों तरफ़ एक अजीब सा सन्नाटा है. मैं सीधा उस स्टेशन पर पहुँचता हूँ, जहाँ ट्रेन पर आग लगाई गई थी. पुलिस के अलावा वहाँ पर एक भी इंसान नहीं हैं. चारों तरफ़ पत्थर बिखरे पड़े हैं. एक पुलिस वाला मुझसे उस जगह को तुरंत छोड़ देने के लिए कहता है.मैं पंचमहल के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक राजू भार्गव से मिलने उनके दफ़्तर पहुँचता हूँ. वह मुझे बताते हैं कि किस तरह 7 बजकर 43 मिनट पर जब साबरमती एक्सप्रेस चार घंटे देरी से गोधरा पहुँची, तो उसके डिब्बों में आग लगाई गई. वह यह भी कहते हैं कि हमलावरों को गिरफ़्तार कर लिया गया है और पुलिसिया ज़ुबान में स्थिति अब नियंत्रण में है. मेरा इरादा गोधरा में रात बिताने का है लेकिन मेरा ड्राइवर अड़ जाता है. उसका कहना है कि यहाँ हालात ओर बिगड़ने वाले हैं. इसलिए वापस अहमदाबाद चलिए.टायर में पंक्चर
 
हम अपनी वापसी यात्रा पर निकल पड़ते हैं. अभी दस किलोमीटर ही आगे बढ़े हैं कि हम देखते हैं कि एक भीड़ कुछ घरों को आग लगा रही है. मैं अपने ड्राइवर से कहता हूँ, स्पीड बढ़ाओ. तेज़.... और तेज़!  
वह कोशिश भी करता है लेकिन तभी हमारी कार के पिछले पहिए में पंक्चर हो जाता है. ड्राइवर आनन फानन में टायर बदलता है और हम आगे बढ़ निकलते हैं. हम मुश्किल से दस किलोमीटर ही और आगे बढ़े होंगे कि हमारी कार फिर लहराने लगती है. इस बार आगे के पहिए में पंक्चर है. हम बीच सड़क पर खड़े हुए हैं.... बिल्कुल अकेले. हमारे पास अब कोई अतिरिक्त टायर भी नहीं है. ड्राइवर नज़दीक के एक घर का दरवाज़ा खटखटाता है. दरवाज़ा खुलने पर वह उनसे विनती करता है कि वह अपना स्कूटर कुछ देर के लिए उसे दे दें ताकि वह आगे जा कर पंक्चर टायर को बनवा सके.क्रेडिट कार्ड ने जान बचाई
 
जैसे ही वह स्कूटर पर टायर लेकर निकलता है, मैं देखता हूँ कि एक भीड़ हमारी कार की तरफ़ बढ़ रही है. मैं तुरंत अपना परिचय पत्र, क्रेडिट कार्ड और विज़िटिंग कार्ड कार की कार्पेट के नीचे छिपा देता हूँ. यह महज़ संयोग है कि मेरी पत्नी का क्रेडिट कार्ड मेरे बटुए में है. मैं उसे अपने हाथ में ले लेता हूँ. माथे पर पीली पट्टी बाँधे हुए एक आदमी मुझसे पूछता है क्या मैं मुसलमान हूँ. मैं न में सिर हिला देता हूँ. मेरे पूरे जिस्म से पसीना बह निकला है. दिल बुरी तरह से धड़क रहा है. वह मेरा परिचय पत्र माँगता है. मैं काँपते हाथों से अपनी पत्नी का क्रेडिट कार्ड आगे कर देता हूँ. उस पर नाम लिखा है रितु राजपूत. वह इसे रितिक पढ़ता है. अपने साथियों से चिल्ला कर कहता है, 'इसका नाम रितिक है. हिंदू है.... हिंदू है... इसे जाने दो.'! इस बीच मेरा ड्राइवर लौट आया है. वह इंजन स्टार्ट करता है और हम अहमदाबाद के लिए निकल पड़ते हैं बिना यह जाने कि वह भी सुबह से ही इस शताब्दी के संभवत: सबसे भीषण दंगों का शिकार हो चुका है. दस साल पहले गोधरा में ट्रेन जलाए जाने के बाद भड़के दंगे को कवर करने गए बीबीसी संवाददाता रेहान फज़ल को किस तरह दंगाइयों की भीड़ का सामना करना पड़ा और किस तरह उन्होंने अपनी जान बचाई, पढि़ए उनके लिखे इस संस्‍मरण में.

जुबान पर लगाम लगाएं राज ठाकरे ? राजद


Photo: जुबान पर लगाम लगाएं राज ठाकरे ? राजद 

 महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) के प्रमुख राज ठाकरे द्वारा बिहारियों को घुसपैठिया करार देने की धमकी पर सियासी माहौल गरम हो गया है, लालू यादव की पार्टी राजद से सांसद रामकृपाल यादव ने भी राज ठाकरे को देशद्रोही करार दिया है, उन्‍होंने कहा, महाराष्‍ट्र को बिहार के लोगों को अपने खून-पसीने से सींचा है, ठाकरे को अपनी जुबान पर लगाम लगाना चाहिए, ठाकरे बंधुओं को अपने गिरेबान में झांकना चाहिए, सरकार को ठाकरे के खिलाफ तुरंत कार्रवाई करनी चाहिए.
 
बिहार में सीएम नीतीश कुमार की पार्टी जेडी (यू) ने राज ठाकरे के इस बयान की कड़ी आलोचना की है, जेडी (यू) प्रवक्‍ता शिवानंद तिवारी ने कहा है, ऐसा लगता है कि राज ठाकरे एक और भिन्‍डरावाले पैदा करना चाहते हैं, मुंबई की हालत यह है कि राज ठाकरे जो चाहते हैं वहीं कानून बन जाता है, ऐसा लगता है कि ठाकरे परिवार देश के कानून और संविधान से इतर एक परिवार है, राज ठाकरे जब देश की बात करते हैं तो उन्‍हें अपनी छाती चौड़ी रखनी चाहिए, उन्‍हें देश के गरीब और पिछड़े इलाके के लोगों के प्रति हमदर्दी होनी चाहिए.
 
जेडी(यू) नेता ने राज ठाकरे के ऐसे बयानों के लिए कांग्रेस को जिम्‍मेदार ठहराया, उन्‍होंने कहा, कांग्रेस ऐसे भस्‍मासुर पैदा करने में माहिर है, कांग्रेस को समझना चाहिए कि भस्‍मासुर एक दिन उसके ही माथे पर हाथ रखेगा और पार्टी जलकर भस्‍म हो जाएगी.  
 
नी‍तीश सरकार में बीजेपी कोर्ट से मंत्री गिरिराज सिंह ने कहा कि राज ठाकरे के खिलाफ देशद्रोह का मुकदमा चलना चाहिए, बीजेपी प्रवक्‍ता मुख्‍तार अब्‍बास नकवी ने कहा कि देश एक फेडरल सिस्‍टम के तहत चलता है, राज ठाकरे की यह टिप्‍प्‍णी मानसिक दिवालियापन का प्रतीक है, ऐसे बयानों से आतंकवाद के खिलाफ बड़ी लड़ाई को नुकसान पहुंच सकता है.महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) के प्रमुख राज ठाकरे द्वारा बिहारियों को घुसपैठिया करार देने की धमकी पर सियासी माहौल गरम हो गया है, लालू यादव की पार्टी राजद से सांसद रामकृपाल यादव ने भी राज ठाकरे को देशद्रोही करार दिया है, उन्‍होंने कहा, महाराष्‍ट्र को बिहार के लोगों को अपने खून-पसीने से सींचा है, ठाकरे को अपनी जुबान पर लगाम लगाना चाहिए, ठाकरे बंधुओं को अपने गिरेबान में झांकना चाहिए, सरकार को ठाकरे के खिलाफ तुरंत कार्रवाई करनी चाहिए.

मामला अतिथि देवो भव का नहीं, पैसा देवो भव का है.?

Photo: मुंबई. उत्‍तर भारतीयों के खिलाफ टिप्‍पणी के चलते सुर्खियों में रहने वाले एमएनएस चीफ राज ठाकरे और मशहूर गायिका आशा भोंसले के बीच जुबानी जंग तेज होती जा रही है, ठाकरे की चुनौती के बाजवूद आशा भोंसले ने कहा कि एमएनएस की धमकी के बावजूद वे एक निजी टीवी चैनल पर जल्द प्रसारित होने वाले रिएलिटी शो में हिस्सा लेंगी, उन्‍होंने राज को जवाब दिया था कि भारत में अतिथि देवो भव का महत्‍व है, लेकिन राज ने कहा है कि अगर पाकिस्तान से हो रहे हमलों के बावजूद आशा भोंसले के लिए वहां के लोग अतिथि देवो भव हैं, तो फिर कसाब को भी वो अतिथि देवो भव क्यों नहीं मान लेती हैं, राज ने निशाना साधते हुए कहा है कि मामला अतिथि देवो भव का नहीं, पैसा देवो भव का है.मुंबई. उत्‍तर भारतीयों के खिलाफ टिप्‍पणी के चलते सुर्खियों में रहने वाले एमएनएस चीफ राज ठाकरे और मशहूर गायिका आशा भोंसले के बीच जुबानी जंग तेज होती जा रही है, ठाकरे की चुनौती के बाजवूद आशा भोंसले ने कहा कि एमएनएस की धमकी के बावजूद वे एक निजी टीवी चैनल पर जल्द प्रसारित होने वाले रिएलिटी शो में हिस्सा लेंगी, उन्‍होंने राज को जवाब दिया था कि भारत में अतिथि देवो भव का महत्‍व है, लेकिन राज ने कहा है कि अगर पाकिस्तान से हो रहे हमलों के बावजूद आशा भोंसले के लिए वहां के लोग अतिथि देवो भव हैं, तो फिर कसाब को भी वो अतिथि देवो भव क्यों नहीं मान लेती हैं, राज ने निशाना साधते हुए कहा है कि मामला अतिथि देवो भव का नहीं, पैसा देवो भव का है.

चुनाव आयोग बताये मुस्लिम लीग क्या है...?

चुनाव आयोग को बताना चाहिए कि क्या मुस्लिमलीग कोई आतंकवादी पार्टी है और साहब इतिहास पढ़कर बोला करो व्हाटसऐप के ज्ञान ने दस साल राज करा दिया, ...