Sunday, 11 December 2016

आज मानव अधिकार दिवस, नोट बंदी ने सब कुछ भुला दिया...?


एस एम फ़रीद भारतीय
मानव अधिकार दिवस हर साल 10 दिसंबर को दुनिया भर में मनाया जाता है, वर्ष 1948 में पहली बार संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा 10 दिसंबर को हर साल इसे मनाये जाने की घोषणा की गयी थी, इसे सार्वभौमिक मानव अधिकार घोषित करने के लिए संयुक्त राष्ट्र महासभा

Saturday, 10 December 2016

मेरे मन की बात, शर्म भी शरमा जाये, बजाओ ताली...?

एस एम फ़रीद भारतीय
पिछले महीने से जो कुछ देश मैं हो रहा है या सुनने को मिल रहा है, वो चंद चापलूसों के अलावा किसी की समझ मैं नहीं आ रहा है, रोज़ नये नये फ़रमान देश ओर देश की जनता को सुनाये जा रहे हैं, क्यूं....?
बस अपनी ना कामियों को छुपाने के लिए ओर विपक्ष

Friday, 9 December 2016

साहब ख़ुद के सीने पर हाथ रखकर कसम खा सकते हो...?

एस एम फ़रीद भारतीय,
जो काम देश के बेगुनाहों को परेशान करके लाईन मैं लगाकर किया जा रहा है ना, अगर वही काम शुरू मैं ही देश के कुछ टैक्स रूपी दलाल वकीलों के आफिस मैं छापा मारकर किया जाता तो बड़ी कामयाबी ही नहीं वाहवाही ओर सुकून

Monday, 5 December 2016

इंसाफ़ को तरसता कानून ओर बाबरी मस्जिद...?

लेखक सम्पादक
"एस एम फ़रीद भारतीय"
6 दिसम्बर 1992 दिन रविवार (इतवार) देश ओर कानून के लिए भारतीय इतिहास का सबसे काला दिन, कब क्या हुआ आपके सामने पेश कर रहा हुँ, ये सब आपके सामने पेश कर रहा हुँ, ख़ासकर उन नौजवानों के लिए जो उस वक़्त पैदा भी नहीं हुए थे, लेकिन आज देश के वोटर हैं.
बाबरी मस्जिद उत्तर प्रदेश के फैजाबाद जिले के अयोध्या

Thursday, 1 December 2016

भारत ओर इस्लाम, कब क्या क्या...?

एस एम फ़रीद भारतीय
लोकप्रिय विश्वास के विपरीत, इस्लाम भारत में मुस्लिम आक्रमणों से पहले ही दक्षिण एशिया में आ चुका था, इस्लामी प्रभाव को सबसे पहले अरब व्यापारियों के आगमन के साथ 7वीं शताब्दी के प्रारम्भ में महसूस किया जाने लगा था.
प्राचीन काल से

सेबी चेयरमैन माधवी बुच का काला कारनामा सबके सामने...

आम हिंदुस्तानी जो वाणिज्य और आर्थिक घोटालों की भाषा नहीं समझता उसके मन में सवाल उठता है कि सेबी चेयरमैन माधवी बुच ने क्या अपराध ...